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Showing posts from September, 2018

वापू के स्वप्न में छुपा है हर व्यक्ति के करोड़ पति बनने का राज

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वापू के स्वप्न में छुपा है हर व्यक्ति के करोड़ पति बनने का राज -जब शास्त्री के नारे को मिलेगा सम्मान और हर व्यक्ति को मिलेगा काम तो देश के विकास को निश्चित तौर पर मिलेगा बल वही होगा देश का आत्मबल अच्छे दिनों को लेकर देश और आमजन में गहरी चर्चा है, लेकिन अभी तक अच्छे दिन आए हैं या नहीं ?, आएंगे या नहीं ?, आ सकते हैं या नहीं ? इन बिंदुओं पर शायद कम ही लोग चर्चा में शामिल हैं। जबकि मोहनदास कर्मचंद गांधी यानि राष्ट्रपिता का सपना था कि हर हाथ को काम और हर पेट को रोटी हो। सच मायने में जब तक वापू का यह सपना पूरा नहीं होगा तो अच्छे दिन आने वाले नहीं है। अच्छे दिनों की चर्चाएं तो होती रहेंगी, लेकिन अच्छे दिन तभी आएंगे जब वापू का सपना पूरा होगा। वापू के स्वप्न पर टिके हैं देश के अच्छे दिन अगर देश में अच्छे दिन लाने हैं तो राष्ट्रपिता महात्मा गांधी का स्वप्न पूरा करना ही होगा। वापू का स्वप्न यानि हर हाथ को काम और हर पेट को रोटी। सोचिए क्या यह स्वप्न आसानी से पूरा हो सकता है। अगर हो सकता तो अब तक देश में कई सत्ता परिवर्तन हुए चर्चाओं को तूल मिली और सत्ता में पहुंचते ही चर्चाओं पर वि...

संकल्प से सफलता तक

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संकल्प में छुपी सफलता एक सफल नेटवर्कर बनाना है तो संकल्प लेना होगा। अगर जिंदगी में कुछ करना है तो संकल्प लेना ही होगा। अगर अपने सारे सपने पूरे करने है तो संकल्प लेना ही होगा। अगर घर में खुशियां लानी है तो संकल्प लेना ही होगा। अगर बच्चों आत्मनिर्भर बन कर इस दुनियां से जाना है तो संकल्प लेना ही होगा। क्या है संकल्प ? संकल्प मतलब खुद से किया हुआ कट्टर वायदा। खुद से वायदा मतलब बाद में कोई दलाब नहीं। मतलब जो करना है वह करना है। कोई भी समझोता नहीं जो वायदा किया है उसी समय उस काम को प्रतिदिन करना ही करना है। वायदा खिलाफी मतलब सफलता में अड़ंगा। मतलब सफलता में अवरोध, रुकावट। इसलिए सफलता चाहिए तो संकल्प मतलब करना ही करना है।  संकल्प लेने वाले लिखदेते हैं इतिहास जो संकल्प लेते हैं और उस संकल्प को पूरा करते हैं। वह नेटवर्कर सफल ही नहीं होते बल्कि बहुत ऊंचाइयों तक जाते है। संकल्प को पूरी तरह से निभाने वाले ही सफल नहीं होते बल्कि उनकी आने वाली पीढ़ियां भी सफलयावी की वह इवारत लिखदेती हैं कि उस व्यक्ति की संकल्पों की एक गाइड़लाइन बना देते हैं। संकल्प लिया था महान बिजनेस मैन धीरूभाई अम...

अब नौकरी खोजना छोड़ा, व्यवस्था करो नौकरी बांटने की

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अब नौकरी खोजना छोड़ा, व्यवस्था करो नौकरी बांटने की संजय दीक्षित अभी भी वक्त है, निकलने के बाद हाथ मलते ही रह जाओगे। सोच को बदलिए। नौकरी मांगिए मत, नौकरी दीजिए।  आपके अंदर प्रश्न उठ रहा होगा कि यहां खाने के लाले हैं, नौकरी केसे दे सकते हैं। हां! सही प्रश्न है। अगर यह प्रश्न आपके अंदर उठा है तो सच मानिए आपके पास अच्छी सोच का अभाव है। बदल दीजिए अपने सोच। सकारात्मक बिनए। ऐसा क्या करें जिससे पैसा भी आए और औरों को भी पैसा कमाने का मौका देंः- वह है नेटवर्क मार्केटिंगः- अगर आप नए हैं या बहुत कम जानते हैं तो आपके अंदर यह प्रश्न उठेगा ही कि आखिर क्या होता है नेटवर्क मार्केटिंग समझिए क्या है नेटवर्क मार्केटिंगः- नेटवर्क मार्केटिंग बिजनेस का नया तरीका है। जिसमें कोई भी कंपनी हो वह सीधे यूजर यानि उपभोक्ता से जुड़ती है। जबकि पुराने बिजनेस करने के तरीके को हम पारंपरिक व्यापार के नाम से जानते हैं जिसको इंगलिस में (ट्रेडीशनल बिजनेस) कहते हैं।  क्या है पारंपरिक व्यापार (ट्रेडीशनल बिजनेस)ः- पुराने तरीके में कंपनी सुपर स्टाकिस्ट, स्टाकिस्ट, बड़ा डिस्टीब्यूटर, छोटा डि...

करोड़पति बनाना है अभिता बच्चन के पास नहीं यहां आइए रात में देखे सपनों को दिन में साकार कराइए

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कौन बनेका करोड़पति करोड़पति बनाना है तो अब केबीसी में जाने की जरूरत नहीं है  + जरूरत है तो अब बिचौलियों से बचने की  + जरूरत है तो अब नक्कालों यानि मिलावट खोरों से बचने की है + जरूरत है तो पैसे का सद्पयोग करने की + जरूरत है तो अपना और पराए की समझ पैदा करने की + जरूरत है तो अपना हित और अहित में अंतर को समझने की + जरूरत है तो अपने अंदर छुपी शक्ति को समझने की + जरूरत है तो अपनी टीम यानि अपने समूह को बढ़ाने की  Sanjay Dixit यह ही नहीं अभी और भी कुछ बाकी है, लेकिन फिलहाल अभी इतना ही। चलिए हम बात को आगे बढ़ाते हैं। सवाल यह पैदा होता है कि आखिर हमको करना क्या होगा! ठीक सही समझे जी।  + हमको करना है अपने उपयोग की सभी वस्तुओं को हम सीधे कंपनी से क्यों न खरीदें ?  + क्यों हम किसी भी दुकान पर जाएं ?  + क्यों हम वस्तु के मूल्य को बढ़ाएं ? + क्यों हम बिचौलियों को सबल (मजबूत) करें ? + क्यों हम अपने मेहनत की कमाई और को बांटे ? + क्यों हम विदेशी लाएं ? + क्यों हम विदेशी खाएं ? + क्यों हम विदेशों को सबल (मजबूत) बनाए ? + क्य...